Arvind Kejriwal’s Car Attacked: नई दिल्ली विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गाड़ी पर पत्थर फेंके गए। इस घटना ने दिल्ली की राजनीति में हलचल मचा दी है। घटना के तुरंत बाद पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है। वहीं, इस घटना को लेकर “आम आदमी पार्टी” (आप) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेताओं के बीच आरोप-प्रत्यारोप शुरू हो गए हैं। यह घटना उस समय हुई जब अरविंद केजरीवाल नई दिल्ली विधानसभा क्षेत्र में चुनाव प्रचार कर रहे थे। उनकी गाड़ी पर अचानक पत्थर फेंके गए। इस घटना के बाद वहां हड़कंप मच गया और स्थानीय लोग तुरंत हरकत में आ गए। ‘आप’ पार्टी की ओर से इस हमले के लिए भाजपा नेता परवेश वर्मा के समर्थकों को जिम्मेदार ठहराया गया। पार्टी ने बयान जारी कर कहा कि परवेश वर्मा के “गुंडों” ने यह हमला किया है।
आप नेता अनमोल ने मीडिया से कहा, “यह हमला भाजपा की हताशा का प्रमाण है। अरविंद केजरीवाल पर यह हमला दर्शाता है कि भाजपा दिल्ली विधानसभा चुनाव हारने से डर रही है। इस कायराना हरकत से केजरीवाल या आम आदमी पार्टी पर कोई असर नहीं पड़ेगा। दिल्ली की जनता इसका जवाब देगी।” उन्होंने दिल्ली पुलिस से सख्त कार्रवाई की मांग की।
भाजपा का पलटवार
दूसरी ओर, भाजपा ने इस घटना पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि यह अरविंद केजरीवाल की “सहानुभूति बटोरने की कोशिश” है। भाजपा नेता आलोक वत्स ने कहा, “यह स्पष्ट नहीं है कि हमला किसने किया। हो सकता है कि यह एक सोची-समझी योजना हो, ताकि केजरीवाल जनता की सहानुभूति बटोर सकें।” भाजपा ने दावा किया कि अरविंद केजरीवाल ने अपनी गाड़ी से दो युवाओं को टक्कर मारी है।
भाजपा नेता परवेश वर्मा ने कहा, “अरविंद केजरीवाल ने प्रचार के दौरान हमारी पार्टी के दो कार्यकर्ताओं को अपनी गाड़ी से टक्कर मारी है। दोनों घायल युवकों को लेडी हार्डिंग अस्पताल ले जाया गया है। यह घटना यह दिखाती है कि चुनाव में हार का सामना करते हुए केजरीवाल और उनकी पार्टी बौखला गई है। मैं खुद घायल कार्यकर्ताओं से मिलने अस्पताल जा रहा हूं।”
Arvind Kejriwal’s Car Attacked : राजनीतिक बयानबाजी तेज
घटना के बाद, दोनों पार्टियों के नेताओं के बीच तीखी बयानबाजी शुरू हो गई। ‘आप’ नेता मनीष सिसोदिया ने भाजपा पर तीखा हमला करते हुए कहा, “भाजपा ने यह हमला करवाया है। वे अरविंद केजरीवाल के कामों पर बहस करने की हिम्मत नहीं रखते, इसलिए इस तरह की घटिया राजनीति पर उतर आए हैं। लेकिन भाजपा यह समझ ले कि दिल्ली की जनता अब इस ईंट का करारा जवाब देगी।”
इस बीच, भाजपा नेता आलोक वत्स ने कहा, “अरविंद केजरीवाल पर कौन लोग हमला कर रहे हैं, यह जांच का विषय है। हो सकता है कि यह उनकी खुद की रची हुई साजिश हो। भाजपा पर झूठे आरोप लगाने से सच्चाई नहीं बदलेगी।”
सुरक्षा का मुद्दा
इस घटना ने एक बार फिर दिल्ली में राजनीतिक नेताओं की सुरक्षा पर सवाल खड़े कर दिए हैं। ‘आप’ नेताओं ने कहा कि जब राजधानी में मुख्यमंत्री ही सुरक्षित नहीं है, तो आम जनता की सुरक्षा का क्या हाल होगा। उन्होंने दिल्ली पुलिस की निष्क्रियता पर भी सवाल उठाए।
पार्टी प्रवक्ता ने कहा, “अरविंद केजरीवाल पर यह हमला कोई पहली बार नहीं हुआ है। इससे पहले भी भाजपा के कार्यकर्ताओं ने हमारे नेताओं पर हमले किए हैं। लेकिन हम डरने वाले नहीं हैं। दिल्ली की जनता जानती है कि कौन उनके लिए काम कर रहा है और कौन नफरत की राजनीति कर रहा है।”
वीडियो के जरिए आरोप
भाजपा नेता परवेश वर्मा ने एक वीडियो जारी किया, जिसमें उन्होंने दावा किया कि अरविंद केजरीवाल की गाड़ी ने उनके दो कार्यकर्ताओं को टक्कर मारी है। परवेश वर्मा ने कहा, “यह दुखद है कि मुख्यमंत्री जैसे व्यक्ति ने अपनी गाड़ी से हमारे कार्यकर्ताओं को कुचल दिया। यह मामला केवल राजनीति का नहीं, बल्कि मानवीय संवेदनाओं का भी है।” भाजपा ने इस वीडियो को सबूत के तौर पर पेश किया और इस पर पुलिस कार्रवाई की मांग की।
Arvind Kejriwal’s Car Attacked : दिल्ली पुलिस की प्रतिक्रिया
दिल्ली पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू कर दी है। पुलिस ने घटनास्थल पर पहुंचकर सबूत जुटाए और स्थानीय लोगों से पूछताछ की। हालांकि, अभी तक यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि हमला किसने किया और इसके पीछे का मकसद क्या था। पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “हम मामले की हर एंगल से जांच कर रहे हैं। फिलहाल, किसी भी पार्टी के आरोपों की पुष्टि नहीं हुई है। जांच पूरी होने तक किसी निष्कर्ष पर पहुंचना जल्दबाजी होगी।”
राजनीतिक संदेश
इस घटना ने दिल्ली के चुनावी माहौल को और गर्मा दिया है। दोनों पार्टियां इस मुद्दे को अपने-अपने तरीके से भुनाने की कोशिश कर रही हैं। जहां भाजपा इसे सहानुभूति बटोरने की साजिश बता रही है, वहीं ‘आप’ इसे भाजपा की हताशा करार दे रही है। दिल्ली के राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि यह घटना चुनाव प्रचार के दौरान पार्टी नेताओं की असुरक्षा और राजनीतिक विरोधियों के बीच बढ़ते तनाव को दिखाती है।
जनता की प्रतिक्रिया
इस घटना के बाद दिल्ली की जनता भी इस मुद्दे पर बंटी हुई नजर आ रही है। ‘आप’ समर्थकों ने इसे भाजपा की साजिश बताया, जबकि भाजपा समर्थकों का कहना है कि केजरीवाल और उनकी पार्टी अपनी गिरती लोकप्रियता को छिपाने के लिए सहानुभूति का सहारा ले रहे हैं। अरविंद केजरीवाल पर हुए इस हमले ने दिल्ली विधानसभा चुनाव को और अधिक चर्चा का विषय बना दिया है। चुनावी प्रचार के बीच हुई इस घटना ने जहां ‘आप’ और भाजपा के बीच आरोप-प्रत्यारोप को तेज किया है, वहीं यह राजनीतिक दलों के लिए एक चेतावनी भी है कि चुनावी माहौल में सुरक्षा का ध्यान रखा जाना बेहद जरूरी है। पुलिस जांच के नतीजे आने तक यह कहना मुश्किल है कि हमले के पीछे कौन था। लेकिन एक बात स्पष्ट है कि यह घटना दिल्ली की राजनीति में एक नया मोड़ लेकर आई है, और जनता अब इस पर अपनी प्रतिक्रिया देने के लिए तैयार है।