गौरेला पेंड्रा मरवाही: जिले में घोटाला प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है घोटाला कम होने का नाम ही नही ले रहा है, तत्कालीन कलेक्टर प्रियंका ऋषि महोबिया के नियम विरूद्ध आदेश की वजह से अब 19 लाख का घोटाले का मामला सामने आ रहा है, तत्कालीन कलेक्टर के द्वारा एक पशु चिकित्सक डॉ संजय शर्मा को नियम विरूद्ध जनपद पंचायत का सीईओ नियुक्त किया गया था ,जिसके द्वारा लाखो का गोलमाल अपने कर्मचारियों के साथ मिलकर किया गया है।
गौरतलब है की अब केंद्र की योजनाओं में भी जमकर धांधली की जा रही है, दरअसल केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी योजना अमृत सरोवर में गौरेला जनपद पंचायत में 19 लाख रुपए के घोटाले के मामले में लोकपाल ने कार्रवाई की है। घोटाले की 12 लाख 83 हजार वसूली करने का आदेश जारी किया है। मनरेगा लोकपाल वेद प्रकाश पांडेय ने जांच की, जांच में फर्जीवाड़े की पुष्टि हुई। गौरेला जनपद के अधिकारी, इंजीनियर और सरपंच ने सांठगांठ कर रेलवे द्वारा खोदे गए गड्ढे को अमृत सरोवर बना दिया था। उन गड्डों को दिखाकर राशि की निकासी की गई थी।
गौरेला जनपद पंचायत के कोरजा ग्राम पंचायत में जनपद पंचायत के सीईओ, सब इंजीनियर, तकनीकी सहायक, रोजगार सहायक और सरपंच-सचिव सहित अन्य ने सांठगांठ कर 19 लाख का घोटाला किया था। 12 लाख 83 हजार रुपए वसूली का आदेश जारी किया गया है ,गौरेला जनपद के तत्कालीन सीईओ डॉक्टर संजय शर्मा, कार्यक्रम अधिकारी समीर ध्रुव, तकनीकी सहायक प्रवीण स्वर्णकार, कोरजा की सरपंच सोमवती कोल, सचिव उमाशंकर उपाध्याय, ग्राम रोजगार सहायक रेवालाल सोनवानी कुल 6 लोगों से 12 लाख 83 हजार रुपए रिकवरी निकालने का आदेश जारी किया है।